SEARCH

    Select News Languages

    GDPR Compliance

    We use cookies to ensure you get the best experience on our website. By continuing to use our site, you accept our use of cookies, Privacy Policies, and Terms of Service.

    https://www.mirzakart.com
    https://www.mirzakart.com

    Six Pocket Syndrome: KBC वाले इशित भट्ट जैसी हरकतें करता है आपका बच्चा, जानें उसे कैसे सुधारें?

    2 days ago

    टीवी शो 'कौन बनेगा करोड़पति' (KBC) के हाल के एक एपिसोड ने सोशल मीडिया पर तहलका मचा रखा है. दरअसल, गुजरात में पांचवीं का स्टूडेंट इशित भट्ट केबीसी में पहुंचा तो हर किसी पर  नजरें उस पर टिक गईं. दअरसल, वह शो में 'ओवरकॉन्फिडेंट' और 'रूड' नजर आया. यहां तक कि उसने होस्ट अमिताभ बच्चन से ही कह दिया कि सर, नियम मत दोहराइए. मैं सब जानता हूं. सीधे सवाल पूछिए! इसके बाद यह बच्चा सोशल मीडिया पर ट्रोल हो गया.

    कुछ लोगों का कहना है कि यह सिक्स पॉकेट सिंड्रोम का नतीजा है. वह सिंगल चाइल्ड होने की वजह से बिगड़ गया है. ऐसे में सवाल उठता है कि क्या आपका बच्चा भी इशित भट्ट जैसी हरकतें करता है? अगर आपका जवाब हां है तो जानें उसे कैसे सुधार सकते हैं?

    क्या है सिक्स पॉकेट सिंड्रोम?

    नई दिल्ली स्थित यथार्थ हॉस्पिटल में काउंसिलिंग साइकोलॉजिस्ट रिचा अग्रवाल के मुताबिक, सिक्स पॉकेट सिंड्रोम टर्म चीन से आया है. वहां 'वन चाइल्ड पॉलिसी' है, जिसकी वजह से बच्चे को दो माता-पिता, दो दादा-दादी और दो नाना-नानी (कुल छह पॉकेट्स) का प्यार मिलता है. इसे सिक्स पॉकेट सिंड्रोम या लिटिल एम्परर सिंड्रोम भी कहते हैं. भारत में भी अब यही हो रहा है. छोटे परिवारों में बच्चा हर किसी का चहेता होता है, जिसकी वजह से वह घमंडी हो जाता है. 

    बच्चों में क्या आता है बदलाव?

    रिचा की मानें तो ओवरइंडल्जेंस से बच्चे डिपेंडेंट हो जाते हैं. वे नाकामयाबी बर्दाश्त नहीं कर पाते हैं, लेकिन ऐसा हर सिंगल बच्चे के साथ नहीं होता है. इस तरह के मामलों में परवरिश का तरीका मायने रखता है. KBC वाले बच्चे का केस देखें तो वह आत्मविश्वास दिखा रहा था, लेकिन उम्र के हिसाब से ज्यादा आक्रामक लग रहा था. यह एज-इनअप्रोप्रिएट असर्टिवनेस का केस है.

    क्या जल्दी बिगड़ते हैं सिंगल बच्चे?

    इशित भट्ट को लेकर सोशल मीडिया पर काफी ज्यादा बहस हो रही है. ज्यादातर लोगों का मानना है कि सिंगल बच्चे अकेले रहते हैं, जिसकी वजह से वे बिगड़ जाते हैं. रिचा का कहना है कि अगर पैरेंट्स बॉउंड्रीज सेट करें तो सिंगल बच्चे भी नॉर्मल होते हैं. स्टडीज दिखाती हैं कि ऐसे बच्चे एंग्जायटी और कम पर्सिवरेंस के शिकार हो सकते हैं, लेकिन प्यार के साथ जिम्मेदारी सिखाएं तो सब ठीक हो सकता है. 

    ऐसे बच्चों को कैसे करें कंट्रोल?

    रिचा ने 6 प्रैक्टिकल तरीके बताए, जो बच्चे को ओवर-इंडल्जेंट किए बिना कॉन्फिडेंट बना सकते हैं. इन्हें बेहद आसानी से फॉलो किया जा सकता है. 

    • बॉउंडरीज सेट करें: स्क्रीन टाइम, पॉकेट मनी या एक्स्ट्रा ट्रीट्स पर सख्ती रखें. हमेशा एक जैसा नियम फॉलो करें. बच्चा सीखेगा कि दुनिया में 'नो' भी होता है.
    • जिम्मेदारियां सौंपे: उम्र के हिसाब से बच्चों को छोटे-छोटे काम सौंपें, जैसे बर्तन धोना या बिस्तर ठीक करना. इससे बच्चा खुद पर भरोसा करना सीखेगा.
    • ग्रुप एक्टिविटीज करवाएं: बच्चे को अकेले न रहने दें. पार्क में दोस्तों के साथ खेलने दें या ग्रुप गेम्स में शामिल करें. ग्रुप में बच्चा दूसरों की भावनाओं को समझना सीखेगा.
    • पैसे का मैनेजमेंट सिखाएं: छोटी खरीदारी या सेविंग के फैसले लेने दें. इससे बच्चा समझेगा कि चीजें फ्री नहीं आतीं.
    • इमोशंस कंट्रोल करना दिखाएं: खुद फ्रस्ट्रेशन को शांतिपूर्वक हैंडल करें. बच्चा आपको ही कॉपी करेगा. दरअसल, बच्चे अपने माता-पिता को ही मॉडल मानते हैं.
    • मेहनत की तारीफ करें: रिजल्ट नहीं, प्रयास की सराहना करें. धैर्य, मेहनत और सीखने पर फोकस करें. इससे बच्चा असफलता से नहीं डरेगा.

    ये भी पढ़ें: Super Antibiotic Nefithromycin: डायबिटीज और कैंसर के मरीजों के लिए गुड न्यूज, भारत ने बनाई पहली देसी सुपर एंटीबायोटिक

    Disclaimer: यह जानकारी रिसर्च स्टडीज और विशेषज्ञों की राय पर आधारित है. इसे मेडिकल सलाह का विकल्प न मानें. किसी भी नई गतिविधि या व्यायाम को अपनाने से पहले अपने डॉक्टर या संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.

    Click here to Read more
    Prev Article
    Diwali 2025 Puja Muhurat: Know Auspicious Timings, Vidhi, Samagri, And Bhog
    Next Article
    दिवाली के बाद अचानक बदलता है मौसम, कमजोर इम्यूनिटी वाले रखें इन बातों का ध्यान

    Related स्वास्थ्य Updates:

    Comments (0)

      Leave a Comment